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1. एक रियासत की दुविधा
1947 में जब भारत और पाकिस्तान स्वतंत्र हुए, तब जम्मू-कश्मीर एक स्वतंत्र रियासत थी। वहां के राजा महाराजा हरि सिंह किसी भी देश में शामिल नहीं होना चाहते थे।
लेकिन पाकिस्तान ने अक्टूबर 1947 में कबाइली लड़ाकों और सैनिकों के साथ हमला कर दिया। हजारों निर्दोष लोग मारे गए, और कश्मीर की राजधानी श्रीनगर पर खतरा मंडराने लगा।
2. भारत से मदद और विलय
जब राजा हरि सिंह को लगा कि वे अपनी सेना के दम पर पाकिस्तान का सामना नहीं कर सकते, तो उन्होंने भारत से मदद मांगी। लेकिन भारत की शर्त थी – पहले जम्मू-कश्मीर को भारत में विलय करना होगा।
इस तरह 26 अक्टूबर 1947 को महाराजा हरि सिंह ने भारत सरकार के साथ ‘इंस्ट्रूमेंट ऑफ एक्सेशन’ (राज्य विलय समझौता) पर हस्ताक्षर किए। भारत ने तुरंत अपनी सेना भेजी और पाकिस्तान को पीछे हटने पर मजबूर कर दिया।
3. अनुच्छेद 370 की शुरुआत
हालांकि, जम्मू-कश्मीर के नेता शेख अब्दुल्ला ने मांग की कि राज्य को कुछ विशेष अधिकार दिए जाएं। प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू भी इसके समर्थन में थे।
इसलिए, भारतीय संविधान में अनुच्छेद 370 जोड़ा गया, जिससे जम्मू-कश्मीर को विशेष स्वायत्तता मिल गई।
4. अनुच्छेद 370 के अंतर्गत विशेष प्रावधान
- जम्मू-कश्मीर का अपना अलग संविधान था।
- भारत की संसद वहां सिर्फ रक्षा, विदेश नीति और संचार से जुड़े कानून बना सकती थी।
- भारत का कोई नागरिक जम्मू-कश्मीर में जमीन नहीं खरीद सकता था।
5. अनुच्छेद 370 क्यों हटाया गया?
समय के साथ, अनुच्छेद 370 कई समस्याओं का कारण बना:
- अन्य राज्यों से जम्मू-कश्मीर का समावेश नहीं हो पाया।
- विकास में बाधा, क्योंकि बाहर के लोग निवेश नहीं कर सकते थे।
- आतंकवाद और अलगाववाद को बढ़ावा मिला।
6. अनुच्छेद 370 कैसे हटा?
5 अगस्त 2019 को भारत सरकार ने एक बड़ा फैसला लिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह ने संसद में प्रस्ताव रखा कि अनुच्छेद 370 को समाप्त कर दिया जाए।
भारत के राष्ट्रपति के आदेश से अनुच्छेद 370 को "निरस्तनिरस्त" कर दिया गया और जम्मू-कश्मीर को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया गया:
- जम्मू-कश्मीर (जहां विधानसभा होगी)
- लद्दाख (जहां विधानसभा नहीं होगी)
7. अनुच्छेद 370 हटने के बाद क्या बदला?
अब जम्मू-कश्मीर पूरी तरह भारत का अभिन्न हिस्सा बन गया:
- भारत के लोग अब वहां जमीन खरीद सकते हैं।
- राज्य में आर्थिक विकास और निवेश बढ़ा।
- आतंकवाद और अलगाववाद पर नियंत्रण लगा।
8. निष्कर्ष
अनुच्छेद 370 की यह पूरी कहानी भारत के एक महत्वपूर्ण बदलाव को दर्शाती है। यह अनुच्छेद जम्मू-कश्मीर को एक अलग पहचान देता था, लेकिन धीरे-धीरे यह राज्य के विकास में बाधा बन गया।
2019 में इसे हटाकर सरकार ने जम्मू-कश्मीर को पूरी तरह भारत का हिस्सा बना दिया, जिससे वहां के लोगों को अधिक अवसर, अधिकार और सुरक्षा मिलने लगी।